प्रियंका का वादा, उत्तर प्रदेश में कांग्रेस का परचम लहराने तक नहीं लेंगी चैन

नई दिल्ली, कांग्रेस महासचिव के रुप में पहली ही बैठक में प्रियंका गांधी ने पार्टी से यह बड़ा वादा किया है कि वह तब तक चैन से नहीं बैठेंगी जब तक उत्तर प्रदेश में कांग्रेस की विचाराधारा का परचम नहीं लहरा जाता। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की चुनावी तैयारियों के लिए बुलाई गई महासचिवों की बैठक के दौरान प्रियंका ने पार्टी की सियासी वापसी के लिए अपना सब कुछ दांव पर लगाने का यह वादा किया। कांग्रेस की सियासी किस्मत पलटने के अपने इस इरादे को जमीन पर उतारने का अभियान प्रियंका 11 फरवरी को लखनऊ में सूबे की जिम्मेदारी संभालने से शुरू करेंगी और अपने पहले दौरे में चार दिन लखनऊ में ही बिताएंगी।

उत्तर प्रदेश की राजनीति में कांग्रेस को फिर से स्थापित करने के अपने बड़े लक्ष्य को देखते हुए प्रियंका ने यह भी साफ कर दिया है कि वह केवल 2019 के लिए उत्तर प्रदेश नहीं जा रही हैं बल्कि लंबे वक्त तक वहां रहेंगी।

प्रियंका के उत्तर प्रदेश की सियासत में उतरने के मौके को धमाकेदार बनाने की भी कांग्रेस ने पूरी रूपरेखा तैयार कर ली है। राहुल गांधी खुद प्रियंका और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के महासचिव ज्योतिरादित्य सिंधिया को लेकर 11 फरवरी को लखनऊ जाएंगे। लखनऊ हवाई अड्डे से ही प्रियंका का रोड शो शुरू हो जाएगा और उनका कारवां इसी धमाकेदार अंदाज में प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय तक जाएगा। उत्तर प्रदेश की सियासत में प्रियंका को धमाकेदार तरीके से लांच करने के बाद राहुल तो लौट आएंगे मगर प्रियंका और ज्योतिरादित्य अगले चार दिन 11 से 14 फरवरी तक लखनऊ में ही रहेंगे।

इस दौरान प्रियंका पूर्वी उत्तर प्रदेश के नेताओं व कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस के सूबे के वरिष्ठ नेताओं से जमीनी सियासत की समीक्षा और भविष्य के रोडमैप को लेकर उनसे सीधी चर्चा करेंगी। राहुल ने प्रियंका और सिंधिया के साथ उत्तरप्रदेश की राजनीतिक परिस्थितियों पर चर्चा की और उसके बाद कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने प्रियंका के लखनऊ दौरे के कार्यक्रम की जानकारी दी।

लोकसभा चुनाव की तैयारियों की समीक्षा के लिए महासचिवों की बैठक के दौरान प्रियंका ने कहा कि तमाम कार्यकर्ताओं और नेताओं को साथ लेकर उत्तर प्रदेश में कांग्रेस के वट वृक्ष को फिर से हरा-भरा बनाएंगी। कांग्रेस मीडिया विभाग के प्रभारी रणदीप सुरजेवाला ने प्रियंका के हवाले से कहा कि महासचिवों की बैठक में उनका कहना था कि उत्तर प्रदेश में भेदभाव, जातिगत और धार्मिक विभाजन के साथ बंटवारे को तोड़ने के लिए वे हर कुर्बानी देने को तैयार हैं। इस दौरान प्रियंका ने बैठक में यह भी कहा कि वे युवा और नई हैं इसलिए सबका समर्थन चाहिए और हम सब मिलकर बेहतर नतीजे देंगे। सूत्रों के अनुसार प्रियंका ने अपने संक्षिप्त संबोधन में यह भी कहा कि उत्तर प्रदेश को धार्मिक ही नहीं जातीय धु्रवीकरण के दायरे से बाहर लाना कांग्रेस की चुनौती है। कांग्रेस के प्रगतिशील विकल्प से ही उत्तरप्रदेश और देश के विकास की रफ्तार को नये पायदान पर ले जाने के नजरिये को इसके लिए सियासी धूरी बनानी होगी।

लगातर चुनाव हारे को टिकट नहीं
कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव के लिए अपने उम्मीदवार फरवरी के अंत तक तय करने का लक्ष्य रखा है। साथ ही पार्टी ने यह भी तय कर लिया है कि लगातार दो से तीन चुनाव हारने वाले लोगों को लोकसभा का टिकट देने की गुंजाइश नहीं होगी। कांग्रेस जमीनी कार्यकर्ताओं के साथ युवा और महिलाओं को टिकट देने में प्राथमिकता देगी।

लोकसभा चुनाव की तैयारियों की समीक्षा के लिए कांग्रेस महासचिवों की बुलाई गई बैठक में उम्मीदवारी के लिए रूपरेखा तैयार की गई। साथ ही यह भी तय हुआ कि अनुभवी वरिष्ठ और बुर्जग नेताओं की भी अनदेखी नहीं की जाएगी। बैठक में यह भी तय हुआ कि लोकसभा चुनाव में न्यूनतम आमदनी गारंटी और किसान कर्ज माफी को कांग्रेस का सबसे बड़ा चुनावी एजेंडा बनाने पर फोकस किया जाएगा।

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